Mainpuri By-Election: मैनपुरी जीतने के लिए बीजेपी ने बनाई खास रणनीति, जमीनी स्तर पर काम शुरू
प्रकाश सिंह
Mainpuri By-Election: मैनपुरी लोकसभा उपचुनाव की जंग मजेदार होती जा रही है। अपने सियासी गढ़ को बचाने के लिए समाजवादी पार्टी का जहां सैफई कुनबा पूरी तत्परता से लग गया है। वहीं बीजेपी भी यहां भगवा लहराने को आतुर नजर आ रही है। बीजेपी के रणनीतिकार की पूरी कोशिश है कि मैनपुरी सीट से सपा के तिलिस्म को किसी भी सूरत में तोड़ा जाए। इसके लिए बीजेपी ने जमीनीस्तर पर काम भी शुरू कर दिया है। सपा के गढ़ में सेंध लगाने के लिए बीजेपी ने खास प्लान तैयार किया है। बता दें कि मैनपुरी लोकसभा उप चुनाव में समाजवादी पार्टी ने डिंपल यादव को तो भाजपा से रघुराज सिंह शाक्य मैदान में उतारा है।
सियासी समीकरण साधने में माहिर बीजेपी प्रदेश अध्यक्ष भूपेंद्र चौधरी और प्रदेश महामंत्री (संगठन) धर्मपाल सिंह मैनपुरी में कमल खिलाने की दिशा में काम शुरू कर चुके हैं। राजनीतिक जानकारों की मानें तो बीजेपी को यह पता है कि अगर वह मैनपुरी में भगवा लहराने में सफल हुई तो वह विरोधियों को बड़ा झटका देने के साथ कड़ा संदेश देने में भी सफल होगी। इसके साथ ही पार्टी को अगले लोकसभा चुनाव में भी इसका फायदा मिलेगा। बीजेपी प्रदेश नेतृत्व कुशल बूथ प्रबंधन के फार्मूले को अपनाकर मैनपुरी की जनता में अपनी पैठ मजबूत करने में जुट गई है। इसी के तहत बीजेपी प्रदेश अध्यक्ष भूपेन्द्र सिंह चौधरी मैनपुरी में बूथ अध्यक्षों के सम्मेलन की शुरुआत जसवंतनगर विधानसभा क्षेत्र से कर रहे हैं। मैनपुरी लोकसभा क्षेत्र की पांच विधानसभा सीटों में जसवंतनगर सीट सपा का सबसे मजबूत गढ़ माना जाता। शिवपाल यादव इसी सीट से विधायक हैं। शिवपाल यादव एकबार फिर भले ही परिवार की एकता के लिए भतीजे अखिलेश यादव के साथ आ गये हैं और बहू डिंपल यादव की जीत सुनिश्चित करने के लिए जीतोड़ मेहनत कर रहे हैं। लेकिन, बीजेपी को अभी भी यहां से अपने पक्ष में माहौल बनने की उम्मीद है। शायद इसी लिए बीजेपी ने जसवंतनगर के लिए खास योजना बनायी है। इस सिलसिले में बीजेपी प्रदेश महामंत्री (संगठन) धर्मपाल सिंह मैनपुरी के विभिन्न विधानसभा क्षेत्रों में संगठन के जुड़े पदाधिकारियों के साथ बैठकें कर चुके हैं। जानकारी के मुताबिक बीजेपी ने अपनी चुनावी रणनीति के तहत बूथों का पर्यवेक्षण करने वाले शक्ति केंद्रों को मजबूती देने और उन्हें सक्रिय करने के लिए उनमें संयोजक और प्रभारी के साथ ही प्रवासी और पालक भी नियुक्त किए हैं। प्रवासी नए लोगों को पार्टी से जोड़कर विस्तारक की भूमिका निभाएंगे। जबकि पालक सक्रिय निगरानी के जरिए शक्ति केंद्रों की कार्यप्रणाली को ऊर्जीकृत करेंगे। इसके अलावा बूथ स्तरीय पदाधिकारी और कार्यकर्ता मतदाताओं से कम से कम तीन बार घर-घर जाकर संपर्क साधेंगे।
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