12 दिन की घातक लड़ाई के बाद अमेरिका की मध्यस्थता से रुका युद्ध; जानिए किन शर्तों पर हुआ युद्धविराम, कितना टिकेगा और क्षेत्र में शांति की क्या संभावनाएं हैं

ईरान: और इजराइल के बीच 12 दिनों से जारी मिसाइल और बम हमलों के बाद आखिरकार सीजफायर हो गया है। 24 जून की सुबह अमेरिका के पूर्व राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रम्प ने इस युद्ध विराम की घोषणा की। इसके बावजूद कुछ इलाकों में हल्के हमलों की खबरें सामने आईं, लेकिन दोनों देशों की सेनाएं अब पीछे हट रही हैं।
अब जानिए इस पूरे घटनाक्रम से जुड़े 8 अहम सवालों के जवाब:
1. आखिर सीजफायर क्यों हुआ?
दोनों देशों को अहसास हो गया कि यह युद्ध जीतने वाला नहीं है।
- ईरान को भारी आर्थिक नुकसान हो रहा था।
- इजराइल में नागरिक असंतोष बढ़ रहा था।
- अंतरराष्ट्रीय दबाव भी चरम पर पहुंच चुका था।
2. अमेरिका ने क्या भूमिका निभाई?
डोनाल्ड ट्रम्प ने निजी तौर पर मध्यस्थता की और ओमान व कतर के जरिए दोनों पक्षों को शांति वार्ता के लिए राज़ी किया।
सीजफायर की घोषणा भी ट्रम्प ने ही की।
3. क्या यह स्थायी सीजफायर है?
नहीं, यह संभावित युद्धविराम है।
- दोनों पक्षों ने कुछ शर्तों पर सहमति दी है।
- अगला रिव्यू 15 दिन बाद संयुक्त राष्ट्र में होगा।
4. किन शर्तों पर हुआ समझौता?
- ईरान सीमावर्ती क्षेत्रों में रॉकेट लॉन्चर नहीं लगाएगा।
- इजराइल अब ईरानी बैक्ड मिलिशिया पर हमला नहीं करेगा।
- दोनों देश सोशल मीडिया और टीवी पर उकसावे वाली भाषा से बचेंगे।
5. किसने सबसे ज्यादा नुकसान उठाया?
- इजराइल: 84 नागरिकों की मौत, 500+ घायल, कई कॉलोनियों में भारी तबाही
- ईरान: 130+ सैनिक और मिलिशिया हताहत, तेल रिफाइनरियों को बड़ा नुकसान
6. क्या यह युद्ध फिर से शुरू हो सकता है?
हाँ, अगर किसी भी पक्ष ने सीजफायर की शर्तें तोड़ीं तो युद्ध दोबारा भड़क सकता है। विशेषकर, गोलन हाइट्स और हिजबुल्ला समर्थित गुटों की गतिविधियां अगला मोर्चा बन सकती हैं।
7. आम लोगों की प्रतिक्रिया कैसी रही?
- इजराइल में लोग राहत की सांस ले रहे हैं, लेकिन भरोसा नहीं है।
- ईरान में सोशल मीडिया पर सरकार के खिलाफ आक्रोश कम हुआ है।
- दोनों देशों में युद्ध से थक चुके नागरिक अब स्थायी शांति चाहते हैं।
8. अब आगे क्या होगा?
- संयुक्त राष्ट्र पर्यवेक्षक दल सीमावर्ती इलाकों में निगरानी करेंगे।
- 15 जुलाई को शांति सम्मेलन बुलाया गया है जिसमें अमेरिका, रूस, चीन, भारत और सऊदी अरब भाग लेंगे।
निष्कर्ष:
ईरान और इजराइल के बीच 12 दिन की युद्ध के बाद आया यह सीजफायर मध्य पूर्व के लिए एक नई शुरुआत हो सकता है। लेकिन यह शांति तभी स्थायी होगी जब दोनों देश कूटनीति और सहयोग को प्राथमिकता देंगे।